ग्वालियर में बनेगा कांग्रेस का चुनाव मुख्यालय, कमलनाथ के लिए आशियाने की तलाश
भोपाल। मध्यप्रदेश में सियासत का पारा हर दिन के साथ बढ़ता जा रहा है। सितंबर में होने वाले संभावित 24 सीटों के उपचुनाव के लिए कांग्रेस भाजपा ने हर स्तर पर तैयारी शुरू कर दी है। कांग्रेस में मंथन का दौर जारी है। इसकी वजह है, 22 विधानसभा क्षेत्रों में उसे नए तरीके से पार्टी खड़ी करनी है। इसी को ध्यान में रखते हुए भोपाल की जगह कांग्रेस का चुनाव मुख्यालय ग्वालियर लाया जा रहा है। ये वही विधानसभा क्षेत्र हैं जिनके कांग्रेस विधायक इस्तीफा देने के बाद भाजपा में शामिल हो गए। 24 विधानसभा चुनाव में 22 क्षेत्र कांग्रेस विधायकों द्वारा इस्तीफे देने से रिक्त हुई हैं। 2 सीट विधायकों के निधन के कारण रिक्त हैं।
ज्योतिरादित्य सिंधिया के भाजपा में जाने से ग्वालियर-चंबल अंचल की 16 सीटों पर कांग्रेस का संगठनात्मक ढांचे को नए सिरे से खड़ा करने की चुनौती है। इसे देखते हुए फैसला लिया गया है कि उपचुनाव होने तक पार्टी का चुनाव मुख्यालय भोपाल के बजाए ग्वालियर में रखा जाए, ताकि हर एक सीट की राजनीतिक गतिविधियों की जानकारी रखी जा सके।
सूत्रों के अनुसार कांग्रेस का चुनाव मुख्यालय ग्वालियर में शुरू हो जाएगा। पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के लिए ग्वालियर में एक बंगले की तलाश की जा रही है। 20 जुलाई से शुरू होने वाले विधानसभा सत्र के बाद कमलनाथ ग्वालियर में ही रहेंगे। इसकी वजह भी है, ग्वालियर-चंबल संभाग में ही सबसे ज्यादा 17 सीटों पर उपचुनाव होना है। (16 सिंधिया समर्थक और एक विधायक के निधन से रिक्त विधानसभा क्षेत्र) कमलनाथ का फोकस भी इन्हीं विधानसभा क्षेत्रों पर रहेगा।
उपचुनाव की तैयारियों के सिलसिले में कांग्रेस के प्रदेश प्रभारी मुकुल वासनिक दो दिन से भोपाल में हैं। पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के साथ वे वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए ग्वालियर-चंबल संभाग के नेताओं से वन-टू-वन चर्चा कर रहे हैं। रविवार को कमलनाथ व वासनिक ने प्रभारियों से पूछा कि सत्ता में वापसी के लिए पार्टी को सभी सीटों पर होने वाले उप चुनाव जीतना होगा, इसलिए इन सीटों पर अब तक की चुनाव तैयारी क्या है। इसका सीधा जवाब न मिल पाने से उनसे कहा गया कि मंडल और सेक्टर पर संगठन को मजबूत बनाएं। ज्यादा से ज्यादा पार्टी कार्यकर्ताओं की संगठन में भागीदारी तय की जाए।