BhopalFEATUREDGeneralGwalior newsIndoreJabalpurLatestMadhya PradeshNationalNewsPolitics

MP : ना कहीं टकराव, ना अतीत के घाव, दिन रात की मेहनत, बना प्रशासन का अलर्ट मोड 8.5 करोड़ प्रदेशवासियों का बचाव…

भोपाल : 21 अगस्त 2024 की जब भी बात की जाती तो हमेशा 2 अप्रैल 2018 की याद आती है। याद आती है आगजनी की, याद आती है भड़की भीड़ की, तोड़ फोड़ की, याद आती है जनहानि की। भारत के इतिहास के पन्नों में दर्ज 2 अप्रैल का दिन निश्चित तौर पर जिन्होंने अपनों को खोया था उनके लिए और कई अन्य लोगों के लिए काले दिन से ज्यादा कुछ और नहीं। फिर आया सर्वोच्च न्यायालय का एक फैसला, जिस फैसले के अंतर्गत ओबीसी की तरह ही अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति समूहों में क्रीमी लेयर की बात कही गई, जिसके बाद एक बार फिर विरोध के स्वर देश में सुनाई देने लगे। अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति से जुड़े कई राजनैतिक संगठनों ने विरोध दर्ज कराने को लेकर भारत बंद का ऐलान कर दिया।

प्रशासन का अलर्ट मोड 8.5 करोड़ प्रदेशवासियों का बचाव

बंद के इस ऐलान के साथ मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने भी एक ऐलान किया। ऐलान था 8.5 करोड़ जनता की सुरक्षा का, ऐलान था प्रदेश की व्यवस्थाओं को सुचारू रूप से चलाते रहने का, ऐलान 2 अप्रैल को न दोहराने का। सीएम के इस ऐलान के बाद प्रशासन ने ना केवल दो अप्रैल को ना दोहराने देने का संकल्प लिया, बल्कि हर एक इंतज़ाम को 100% पुख़्ता किया।

3000 से ज्यादा जवान सड़कों पर थे तैनात

इस पूरी व्यवस्था के दौरान जो सबसे खास बात थी वह यह थी कि इस मामले में मुख्यमंत्री मोहन यादव खुद सतत मॉनिटरिंग कर रहे थे। प्रदेश में हर पल की हलचल पर उनकी नजर थी। उनके आदेश के पालन स्वरूप हर जिले के कलेक्टर और एसपी लगातार मैराथन बैठक ले रहे थे और 3000 से ज्यादा जवान सड़कों पर तैनात थे। मक़सद सिर्फ एक था शांति पूर्ण तरीके से व्यवस्थाओं को यथावत चलने देना।

प्रशासन की तैयारियों के साथ इस व्यवस्था को बनाए रखने में दलित संगठनों ने भी सकारात्मक भूमिका निभाई और बंद को शांतिपूर्ण तरीके से कर अपना विरोध दर्ज करा अपनी बात सरकार तक पहुंचाई।

निश्चित तौर पर दिन रात एक कर प्रदेश की व्यवस्थाओं को यथावत चलाने वाले अधिकारी, कर्मचारी, शासन और प्रशासन इस बात के लिए साधुवाद के पात्र है कि इन सभी ने लोकतंत्र की खूबसूरती को निखारते हुए विरोध प्रदर्शन भी होने दिया और किसी प्रकार की अराजकता भी नहीं फैलने दी।