कमलनाथ ने लगाया बीजेपी पर राम मंदिर को राजनीतिक रूप देने का आरोप, कहा ‘धार्मिक स्वतंत्रता और सनातनी परंपराओं के साथ खिलवाड़’
भोपाल : पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा है कि अयोध्या में राम मंदिर उद्घाटन को बीजेपी ने राजनीतिक स्वरूप दे दिया है और धर्म को राजनीतिक मंच पर ले आए हैं..वो दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होने कहा कि जब राम मंदिर का निर्माण शुरु हुआ था तो उन्होने इसका स्वागत किया था। लेकिन आज बीजेपी ने एक पॉलिटिकल इवेंट बना दिया है, जो सरासर गलत है। उन्होने रामलला प्राण प्रतिष्ठा की बधाई दी और कहा कि वो देश में अमन और भाईचारे की कामना करते हैं।
बीजेपी पर लगाया आरोप
कमलनाथ ने एक्स पर लिखा है कि ‘जब अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण प्रारंभ हुआ था, तब मैंने वीडियो संदेश के माध्यम से इसका स्वागत किया था और देशवासियों को इस बहुप्रतिक्षित कार्यक्रम की बधाई दी थी। अयोध्या में भगवान राम के मंदिर का निर्माण सुप्रीम कोर्ट के आदेश से हो रहा है। चूँकि वर्तमान में केन्द्र व राज्य में बीजेपी की सरकार है, इसलिए सुप्रीम कोर्ट के आदेश के पालन का दायित्व बीजेपी सरकार पर है। बीजेपी ने जिस तरह से इस कार्यक्रम को राजनीतिक स्वरूप दिया है और धर्म को राजनीतिक मंच पर लाने का प्रयास किया वह दुर्भाग्यपूर्ण है, दुखद है। भगवान राम हमेशा से हम सभी की आस्था का केंद्र रहे हैं, और हमेशा रहेंगे। इस पर राजनीति धार्मिक स्वतंत्रता और सनातनी परंपराओं के साथ खिलवाड़ है। आज हम सबके अराध्य प्रभु राम की प्राण प्रतिष्ठा के पावन अवसर पर मैं पुनः देशवासियों को बधाई देता हूँ और प्रभु राम के चरणों में नमन करते हुये देशवासियों की समृद्धि और ख़ुशहाली की कामना करता हूँ। प्रभु राम सभी का कल्याण करें, सभी को निरोगी रखें, सभी की मनोकामना पूर्ण करें और देश में अमन-चैन और भाईचारे की रक्षा करें।’
राहुल गांधी को मंदिर जाने से रोकने की निंदा
इसी के साथ उन्होने असम में राहुल गांधी को मंदिर जाने से रोकने की घटना की भी निंदा की। पूर्व कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि ‘पहले राहुल गांधी की यात्रा पर हमला हुआ और आज राहुल जी को मंदिर जाने से रोका गया। क्या भाजपा के राज में मंदिर दर्शन और पूजा अर्चना करना भी प्रतिबंधित हो गया है। राहुल जी को मंदिर जाने के अनुमति के लिए धरना देना पड़ा। यह हमारी आस्था और नागरिक स्वतंत्रता पर हमला है।’